दोस्तों, अगर आप शाकाहारी हैं और आपको बार बार यही कहा जाता है कि Vitamin B12 के लिए नॉन वेज खाना ही पड़ेगा तो पढ़ते रहिये इस लेख को क्योंकि आज मैं आपसे शेयर करूंगा Vitamin B12 के 6 ऐसे शाकाहारी सोर्स जिनको अपनी डाइट में शामिल करके आपको Vitamin B12 के लिए कभी परेशान नहीं होना पड़ेगा। आइए तो फिर बिना किसी देरी के शुरू करते हैं।
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विटामिन बी12 की कमी के लक्षण
दोस्तों Vitamin B12 एक महत्वपूर्ण मिनरल है आपके रक्त के लिए, आपके नर्वस सिस्टम की समुचित कार्य के लिए और आपके डीएनए रिपेयर के लिए। आजकल विटामिन बी१२ की कमी बहुत आम है। यह हैरानी की बात है कि 50% से भी ज्यादा लोगों को विटामिन बी12 की कमी होती है।
लेकिन हमें कैसे पता चले कि हमारे शरीर में विटामिन बी12 की कमी हो रही है। Vitamin B12 की जब भी कमी होती है तो इसके कुछ बहुत ही साफ़ संकेत सामने आते हैं।
सबसे पहला है थकान। अगर आप हमेशा थका थका सा महसूस करते हैं, ऐसा लगता है कि काम करने की शक्ति नहीं है, थोड़ा सा ही काम करके आप थक जाते हैं तो हो सकता है कि आपके शरीर में Vitamin B12 की कमी हो। फिर अगर आपकी त्वचा थोड़ी पीली पड़ रही हो, चेहरे को देखकर लगे कि खून की कमी हो रही है तो यह भी Vitamin B12 की कमी की वजह से हो सकता है।
ऐसा इसलिए क्योंकि Vitamin B12 ब्लड सेल्स को बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। फिर मुंह में बार बार छाले होना या जीभ पर सूजन होना भी Vitamin B12 की कमी के लक्षण हैं।
अब क्योंकि Vitamin B12 हमारे सेंट्रल नर्वस सिस्टम यानी दिमाग और तंत्रिकाओं की कार्य पद्धति के लिए भी जिम्मेदार है, इस वजह से इसकी कमी से मूड स्विंग की शिकायत आती है, यादाश्त कमजोर होने लगती है और किसी चीज पर ध्यान केंद्रित करना मुश्किल लगता है।
इसकी कमी से चिड़चिड़ापन, एंजाइटी या डिप्रेशन भी हो सकता है। एक खास लक्षण होता है विटामिन बी12 की कमी का वो होता है अगर आपके हाथ पैरों में सेंसेशन हो, ऐसा लगे जैसे चींटियां चल रही हैं जैसे कुछ चुभ रहा हो। फिर अगर नाखून भूरे रंग के हो रहे हों तो विटामिन बी12 की कमी हो सकती है।
अगर आपको इनमें से कुछ लक्षण नज़र आ रहे हैं तो आप विटामिन B12 का लेवल चेक करवाने के लिए ब्लड टेस्ट करवा कर देख सकते हैं। लेकिन सवाल यह उठता है कि विटामिन बी12 की कमी होती क्यों है? क्या नॉनवेज न खाना ही इसका सबसे बड़ा कारण है? बिल्कुल नहीं।
असल में वैज्ञानिक अध्ययन यह बता रही है कि हमारी आंतों में जो गुड बैक्टीरिया होते हैं, वह विटामिन बी12 को बनाने में सक्षम है। लेकिन जरूरी यह है कि हमारा पेट सही हो। मतलब अगर गैस, अपच या कब्ज जैसी दिक्कतें जब होती हैं तो हमारी आंतों में गुड बैक्टीरिया की कमी हो जाती है, जिस वजह से विटामिन बी12 बन नहीं पाता।
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6 शाकाहारी बी12 स्रोत जिन्हें आपको अपने आहार में अवश्य शामिल करना चाहिए
दोस्तों, यह बात सही है कि विटामिन बी12 नॉनवेज आइटम्स और अंडे के पीले भाग में पाया जाता है। लेकिन ऐसा सोचना कि शाकाहारी भोजन से विटामिन बी12 नहीं लिया जा सकता, यह बात बिल्कुल गलत है। ऐसा होता तो प्रकृति को हम दिवालिया कह सकते थे।
लेकिन कुदरत का खजाना भरपूर है इसलिए आज में आपसे शेयर करता हूं 6 ऐसे शाकाहारी भोजन जिन्हें अगर आप अपनी डाइट में शामिल कर लें तो आपको विटामिन बी12 की कमी कभी नहीं होगी।
1. दूध
सबसे पहला है दूध। दोस्तों दूध में काफी ज्यादा मात्रा में विटामिन बी12 पाया जाता है। असल में अगर आप दूध का सिर्फ एक ग्लास भी पूरे दिन में पी लें तो विटामिन बी12 की रोजाना की जरुरत का 50% आपको मिल जाएगा।
इसके अलावा जो बाकी मिल्क प्रोडक्ट है जैसे दही, छाछ, पनीर और घी इनमें भी विटामिन बी12 पर्याप्त मात्रा में होता है। दही में 30 प्रतिशत रोजाना की जरुरत का विटामिन बी12 के साथ साथ प्रोबायोटिक बैक्टीरिया भी होते हैं जो आंतों में गुड बैक्टीरिया को बढ़ावा देते हैं।
जिस वजह से विटामिन बी12 का उत्पादन हमारे शरीर में आसानी से होने लगता है। लंच के बाद नमकीन छाछ पीने से गैस और अपच की दिक्कत नहीं आती और विटामिन बी12 का बनना हमारे शरीर में रूकता नहीं है। दूध कोशिश करें कि देसी गाय का ही लें क्योंकि यह हेल्दी होता है और इसमें विटामिन डी भी मिल जाता है।
2. चने
नंबर दो पर हैं चने। ऐसा कहा जाता है कि अगर आप नॉनवेज नहीं खाते तो चने खा लो। ताकत का भंडार होने तथा विटामिन बी12 होने के साथ साथ इसमें फाइबर, प्रोटीन और काफी जरुरी माइक्रोन्यूट्रिएंट्स होते हैं। आप हफ्ते में एक बार सफेद चना और एक बार काले चने खा लो तो काफी है।
बाकी जो भुने चने होते हैं वो भी विटामिन बी12 से भरपूर एक अच्छा स्नैक ऑप्शन है। आप इसे अपने साथ कहीं भी ले जा सकते हैं।
3. व्हीटग्रास जूस
नंबर तीन पर है व्हीटग्रास जूस जिसे गेहूं का ज्वारा भी कहते हैं अपने आप में सुपरफूड तो है ही बल्कि विटामिन B12 का भी नेचुरल सप्लीमेंट है। 2015 की रिसर्च में प्रूव हुआ कि जिन लोगों को वीट ग्रास जूस दिया गया, उनकी बॉडी में टॉक्सिन की मात्रा कम हो गई।
चार चम्मच जूस में अगर आप चार चम्मच पानी मिलाकर सुबह नाश्ते से आधे घंटे पहले पीना शुरू कर दें तो विटामिन B12 की कमी होगी ही नहीं और अगर है तो पूरी हो जाएगी। ये काफी ठंडा होता है जिस वजह से गर्मी से भी आपको राहत दिलाएगा।
4. किण्वित खाद्य पदार्थ
नंबर चार पर है फर्मेन्टेड फूड। जैसे कि हम जान ही गए हैं कि आंतों में मौजूद जो गुड बैक्टीरिया होते हैं वो अगर पर्याप्त मात्रा में हैं तो हमें विटामिन B12 की चिंता करने की जरूरत ही नहीं। इसलिए फर्मेन्टेड फूड को विटामिन बी12 का बहुत अच्छा सोर्स माना गया है।
भारतीय रसोई में तो फर्मेन्टेड फूड की कोई कमी नहीं। आप इडली खा सकते हैं, डोसा खा सकते हैं, ढोकला, पनीर, दही वाली छाछ, कांजी और अचार ये सब फर्मेन्टेड फूड की कैटेगरी में आते हैं।
5. अंकुरित अनाज
दोस्तों जब भी अनाज अंकुरित हो जाता है तो उसमें नैचुरली साइनोकोबाल आ जाता है जो कि विटामिन बी12 का ही वैज्ञानिक नाम है। अगर आप स्प्राउट्स खाने की आदत बना लें फिर विटामिन बी12 की ही नहीं बल्कि बाकी किसी भी और विटामिन, मिनरल की कमी नहीं होगी। ये एक पावरफुल मल्टी विटामिन फूड है।
लेकिन मैं समझ सकता हूं आप क्या सोच रहे हो। यार ये स्प्राउट्स खाने कितने मुश्किल हैं। असल में अगर स्प्राउट्स सही तरीके से बनाए जाएं तो बहुत टेस्टी बनते हैं। मुझे पर्सनली मूंगदाल स्प्राउट चाट बहुत पसंद है।
सबसे पहले मूंग दाल को पांच घंटे के लिए भिगोकर छोड़ दो। मूंग फूल जाएगी अब इसे मलमल के कपड़े वगैरह में लपेटकर रोशनी से दूर गर्म जगह पर रख दो। बस 10 से 12 घंटे में बहुत बढ़िया स्प्राउट्स बनकर तैयार हो जाएंगे।
अब इसकी चाट बनाने के लिए कटोरे में थोड़े से स्प्राउट्स डालें। इसमें कटी हुई प्याज, टमाटर, सेंधा नमक, काली मिर्च, खूब सारा अदरक, नींबू का रस, धनिया, भुना जीरा और थोड़ा सा तेल डालकर अच्छे से मिला लें। बस ये आपका विटामिन बी12 सप्लीमेंट तैयार है।
आप इसे चाहें तो नाश्ते में खा लें या फिर स्नैक के तौर पर। हफ्ते में दो तीन बार भी अगर आपने स्प्राउट्स खा लिए तो बस फिर विटामिन बी12 की दिक्कत नहीं होगी।
6. सहजन की पत्तियों का चूर्ण
मोरिंगा यानी सहजन की फली का जो पेड़ होता है, उसके पत्तों में काफी ज्यादा मात्रा में विटामिन बी12 पाया जाता है। नहीं, आपको पेड़ ढूंढ कर पत्ते तोड़ने की जरूरत नहीं। मोरिंगा लीफ पाउडर बहुत आसानी से मार्केट में मिल जाता है। इस मोरिंगा लीफ पाउडर को आप मसाले की तरह अपने किचन में रखो।
आप इसका एक चम्मच आटे में गूंध सकते हो, चावल बॉइल करते हुए डाल सकते हो, किसी सब्जी में डाल सकते हो या साधारण एक चम्मच पानी में मिलाकर मिक्स करके पी सकते हो।
अब क्योंकि विटामिन बी12 एक वॉटर सॉल्यूबल विटामिन है तो पानी से लेने से शरीर में आराम से घुल जाएगा। बाकी जो भी मौसमी पत्तेदार सब्जियां होती हैं उन्हें भी आप जरूर खाएं क्योंकि उनमें भी थोड़ा थोड़ा विटामिन बी12 होता है।
निष्कर्ष
तो दोस्तों, अगर आपने ये चीजें अपनी डाइट में शामिल कर ली तो आपको विटामिन बी12 की कमी कभी नहीं हो सकती बल्कि आप देखेंगे कि जो भी लक्षण आ रहे थे वो अपने आप ही खत्म हो गए। आप आज ही विटामिन बी12 पता करने के लिए ब्लड टेस्ट करवा लें और फिर इन खाद्य प्रदार्थों को अपनी डाइट में शामिल करके दो महीने बाद दोबारा टेस्ट करवाएं। आप हैरान हो जाएंगे कि विटामिन बी12 का लेवल कितना बढ़ गया होगा।